यह कार्यक्रम भारत में नबाबों के काल की नाट्य झांकी प्रस्तुत करता है जिसमें खेतिहर और भूमिहीन मजदूरों की दुर्दशा का बयान किया गया है तथा उनके न्याय के बारे में भी मनोरंजक धंद से चर्चा की गई है ,
कहानी, कविता आदि पढ़कर लेखन के विविध तरीकों और शैलियों को पहचानते हैं, जैसे- वर्णनात्मक, विवरणात्मक, भावात्मक, प्रकृति चित्रण आदि।विभिन्न पठन सामग्रियों को पढ़ते हुए उनके शिल्प की सराहना करते हैं और अपने स्तरानुकूल मौखिक, लिखित, ब्रेल /सांकेतिक रूप में उसके बारे में अपने विचार व्यक्त करते हैं।अपने पाठक को लिखने के उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए बात को प्रभावी तरीके से लिखते हैं|
फैसला: